महिलाओं के लिए बस नहीं रोकी तो होगी छुट्टी: DTC ड्राइवरों को सीएम की चेतावनी

राजधानी दिल्ली (Delhi) में महिलाओं के लिए बस न रोकने वाले डीटीसी ड्राइवरों की मनमानी अब नहीं चलेगी। महिलाओं को मुफ्त बस यात्रा योजना को पलीता लगा रहे मनबढ़ डीटीसी बस चालकों को मुख्यमंत्री आतिशी ने सख्त चेतावनी दी है। दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी ने सोमवार को कहा कि सरकारी बसों (डीटीसी और क्लस्टर) के चालक और कंडक्टर अगर निर्धारित बस स्टॉप पर इंतजार कर रही महिला यात्रियों को बैठाए बिना आगे बढ़ते पाए गए, तो उन्हें निलंबित कर दिया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए दिल्ली की महिलाओं से कहा कि वे ऐसी बसों की तस्वीरें खींचकर सोशल मीडिया पर साझा करें, ताकि दोषी चालक और कंडक्टर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा सके।

बस नहीं रोकी, तो होगा निलंबन

आतिशी ने कहा कि परिवहन विभाग ने डीटीसी और क्लस्टर बसों के सभी चालकों और कंडक्टरों को आदेश जारी किया है कि वे बस स्टॉप से ​​महिला यात्रियों को बैठाना सुनिश्चित करें। आतिशी ने कहा कि अगर बसें महिला यात्रियों को बैठाने से बचने के लिए नहीं रुकती हैं, तो ऐसे चालकों और कंडक्टरों को निलंबित कर दिया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने कहा-

‘‘दिल्ली सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है कि महिला यात्री अपनी जरूरत के हिसाब से बसों का स्वतंत्र रूप से उपयोग करें। अगर ज्यादा से ज्यादा महिलाएं कार्य, शिक्षा और अन्य गतिविधियों के लिए बाहर जाएंगी, तो अर्थव्यवस्था मजबूत होगी।’’

Delhi में महिलाओं के लिए मुफ्त है बस यात्रा

दिल्ली सरकार ने अक्टूबर 2019 में महिलाओं के लिए सरकारी बसों में मुफ्त यात्रा योजना शुरू की थी। इस योजना का उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक बोझ से राहत देना और सार्वजनिक परिवहन को सुलभ बनाना है।

  • इस योजना के तहत, दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) और क्लस्टर बसों में महिलाओं को मुफ्त यात्रा की सुविधा दी गई है।
  • महिलाएं गुलाबी रंग के ‘सिंगल जर्नी पास’ का उपयोग कर इस सुविधा का लाभ उठा सकती हैं। यह पास बस कंडक्टर द्वारा प्रदान किया जाता है और इसका कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाता।
  • इस योजना से हर दिन करीब 10 लाख महिलाएं लाभान्वित हो रही हैं। खासतौर पर छात्राएं, नौकरीपेशा महिलाएं और घरेलू कामकाज के लिए यात्रा करने वाली महिलाएं इस योजना को बेहद सहायक मानती हैं।

इस सुविधा का उपयोग बड़ी संख्या में महिलाएं कर रही हैं, लेकिन कुछ बस कर्मियों द्वारा निर्देशों की अनदेखी किए जाने की शिकायतें भी सामने आई हैं।

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